बिहार में फिर सक्रिय हुई NIA, AK-47 बरामदगी मामले में कई ठिकानों पर छापेमारी

News Desk Patna:

बिहार में राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने एक बार फिर आधुनिक हथियारों की तस्करी से जुड़े नेटवर्क पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। AK-47 राइफल बरामदगी मामले में जांच को आगे बढ़ाते हुए एजेंसी ने हाल ही में मुजफ्फरपुर, हाजीपुर और पूर्वी चंपारण के कई इलाकों में ताबड़तोड़ छापेमारी की।

पुराने मामले से जुड़ा है पूरा घटनाक्रम

गौरतलब है कि 7 मई 2024 को बिहार एसटीएफ और डीआईयू की टीम ने मुजफ्फरपुर स्टेशन रोड पर कार्रवाई कर सत्यम और विकास नामक आरोपियों को गिरफ्तार किया था। उनके पास से AK-47 राइफल का बट और लेंस बरामद किया गया था। पूछताछ के दौरान विकास ने खुलासा किया था कि यह हथियार कुढ़नी प्रखंड के देवमणि राय के कहने पर छिपाया गया था। इसके बाद देवमणि राय को भी गिरफ्तार किया गया और उसकी निशानदेही पर पुल के नीचे झाड़ियों से AK-47 बरामद की गई थी।

विकास ने जांच एजेंसियों को यह भी बताया था कि गोपालगंज का रहने वाला अहमद अंसारी, जो मूल रूप से नागालैंड के दीमापुर का निवासी है और वहीं गैराज चलाता है, से उसने सात लाख रुपए में यह हथियार खरीदा था। अहमद अंसारी की गिरफ्तारी के लिए बिहार एसटीएफ ने दीमापुर में एक महीने से ज्यादा समय तक कैंप कर सघन अभियान चलाया था। गिरफ्तारी के बाद उससे पूछताछ में कई अहम जानकारियां सामने आई थीं।

NIA की एंट्री और केस दर्ज

इस पूरे मामले की गंभीरता को देखते हुए 5 अगस्त 2024 को NIA ने इस मामले को अपने हाथ में लिया। फकुली थाना, मुजफ्फरपुर में दर्ज प्राथमिकी को आधार बनाते हुए एनआइए ने चार अभियुक्तों – सत्यम, विकास, देवमणि राय और अहमद अंसारी – के खिलाफ जांच शुरू की। बीते 8 मई 2025 को NIA ने पटना के विशेष अदालत में इन चारों आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल कर दी। केंद्रीय गृह विभाग ने भी इनके खिलाफ मुकदमा चलाने की अनुमति प्रदान कर दी।

एक साल बाद फिर से छापेमारी

करीब एक साल बाद यह मामला फिर से गरमाया है। एनआइए की टीम ने हाल ही में मुजफ्फरपुर जिले के पानापुर प्रखंड के अररा गांव में कुख्यात गोलू ठाकुर के घर छापेमारी की। बताया जाता है कि एजेंसी को सूचना मिली थी कि गोलू ठाकुर के घर में AK-47 छिपाकर रखा गया है। एनआइए की टीम ने घर के कोने-कोने की तलाशी ली और गोलू ठाकुर से घंटों पूछताछ की। हालांकि छापेमारी में कोई हथियार नहीं मिला, लेकिन उसके मोबाइल फोन को जब्त कर लिया गया।

इसी कड़ी में पूर्वी चंपारण के अरेराज अनुमंडल के खजुरिया गांव में कुख्यात राहुल मुखिया के घर और पकड़ीदयाल प्रखंड के थरबिटिया गांव में पूर्व मुखिया छेदी सिंह के घर भी छापेमारी की गई। दोनों ही जगहों से मोबाइल फोन जब्त किए गए हैं।

हथियार तस्करी के नेटवर्क तक पहुंचने की कोशिश

सूत्रों के अनुसार, गोलू ठाकुर के तार पहले से गिरफ्तार आरोपी विकास से जुड़े होने की चर्चा है। यही कारण है कि एनआइए उसके खिलाफ लगातार साक्ष्य इकट्ठा कर रही है। एजेंसी का मानना है कि बिहार में AK-47 जैसे अत्याधुनिक हथियारों की तस्करी का नेटवर्क नागालैंड और पूर्वोत्तर राज्यों तक फैला हुआ है। इसी नेटवर्क को तोड़ने और इसके तारों को उजागर करने के लिए एजेंसी लगातार छापेमारी कर रही है।

आगे की कार्रवाई

NIA की टीम ने जिन मोबाइल फोनों को जब्त किया है, उनकी फॉरेंसिक जांच कराई जाएगी ताकि यह पता चल सके कि आरोपियों के बीच किस तरह का संपर्क और लेन-देन हुआ है। माना जा रहा है कि आने वाले दिनों में इस मामले में और भी बड़ी कार्रवाई हो सकती है।

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