News Desk Supaul:
संत सद्गुरू महर्षि संतसेवी परमहंस जी महाराज की 106वीं पावन जयंती के अवसर पर नगर पंचायत सिमराही के वार्ड संख्या–3 स्थित मेहीं संतमत सत्संग मंदीर में शुक्रवार एवं शनिवार को भव्य धार्मिक आयोजन संपन्न हुआ। इस अवसर पर ध्यान साधना शिविर, दो दिवसीय संतमत सत्संग तथा विशाल भंडारे का आयोजन किया गया, जिसमें बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने सहभागिता की।
कार्यक्रम की शुरुआत प्रातः ध्यान साधना शिविर से हुई, जिसमें संतमत की परंपरा के अनुसार साधकों को आत्मिक शांति, संयम और ध्यान की विधियों का अभ्यास कराया गया। संतमत के आचार्यों एवं प्रवचनकर्ताओं ने महर्षि संतसेवी परमहंस जी महाराज के जीवन, उनके आध्यात्मिक संदेशों, मानव कल्याण एवं आत्मज्ञान पर आधारित शिक्षाओं पर विस्तार से प्रकाश डाला।
दो दिवसीय संतमत सत्संग के दौरान प्रवचनों में सत्संग, सदाचार, सत्य, अहिंसा, सेवा और ध्यान के महत्व को रेखांकित किया गया। वक्ताओं ने कहा कि संतसेवी परमहंस जी महाराज का जीवन मानवता को सही मार्ग दिखाने वाला रहा है और उनकी शिक्षाएं आज भी समाज को आध्यात्मिक एवं नैतिक दिशा प्रदान करती हैं।
आयोजन के अंत में विशाल भंडारे का आयोजन किया गया, जिसमें सैकड़ों श्रद्धालुओं ने प्रसाद ग्रहण किया। भंडारे की व्यवस्था में स्थानीय श्रद्धालुओं, स्वयंसेवकों एवं समिति के सदस्यों ने सक्रिय भूमिका निभाई। पूरे आयोजन के दौरान भक्ति, अनुशासन और आध्यात्मिक वातावरण बना रहा।







